महाकाल की दूसरी सवारी: गजराज पर राजा को देख चार लाख भक्त निहाल

राजाधिराज बाबा महाकाल की दूसरी सवारी पर सोमवार को उज्जैन में आस्था का सैलाब उमड़ पड़ा। नगराधिपति राजा महाकाल जब चांदी की पालकी में विराजित होकर अपनी प्रजा का हाल जानने निकले तो सवारी मार्ग जयकारों से गुंजायमान हो उठा। एक अनुमान के मुताबिक करीब चार लाख से भक्तों ने सवारी के दर्शन किए।

यह रहा सवारी का क्रम
चंद्रमौलेश्वर स्वरूप में पालकी में विराजित राजाधिराज महाकाल
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2. यह रहा सवारी का क्रम

सभामंडप में पूजन के बाद अपराह्न चार बजे राजा महाकाल पालकी में विराजित होकर मंदिर से बाहर आए। यहां सशस्त्र बल ने गॉर्ड ऑफ ऑनर दिया गया। यहां से विभिन्न मार्गों से होती हुई सवारी शाम 5.15 बजे रामघाट पहुंची। यहां मोक्षदायिनी क्षिप्रा के जल से बाबा का अभिषेक हुआ। इसके बाद राजा की पालकी रामानुज कोट, कार्तिक चौक, ढाबा रोड, छत्री चौक, गोपाल मंदिर, पटनी बाजार, गुदरी चौराहा होते हुए 7.30 बजे मंदिर पहुंची। करीब पांच किमी लंबे मार्ग पर जहां देखों वहां भक्त ही भक्त नजर आ रहे थे।

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