मोहर्रम: बाहर निकले एशिया के सबसे बड़े दुलदुल
कर्बला के मैदान में कुर्बानी देने वाले रसूले पाक के नवासों की शहादत का पर्व मोहर्रम चांद दिखार्ई देने के बाद शुरू हो गया और कर्बला के शहीदों की याद में हर आंख नम हो गई। शनिवार को चांद दिखने के बाद से मोहर्रम की शुरुआत हुई और मुस्लिमजन शोहदा-ए-कर्बला के जिक्र में मशगूल हो गए।
मजलीस और सबिल का दौर भी हुआ शुरू
खबरीराम 24 डॉट कॉम @ SHAJAPUR (MP)
मोहर्रम का आगाज होते ही मुस्लिम समाजजनों द्वारा दुलदुल, ताजियों को सजाने का कार्य प्रारंभ कर दिया गया है। इसी कड़ी में रविवार को मोहर्रम की पहली तारीख को एशिया के सबसे बड़े माने जाने वाले दुलदुल को मुस्लिमजनों ने चौकी पर विराजित करने के लिए इमाम बाड़े से बाहर निकाला। वहीं मोहर्रम के पर्व को लेकर समाजजनों द्वारा विभिन्न तैयारियां की जा चुकी हैं।
नगर के विभिन्न अखाड़ों द्वारा भी नौबत-ताशा बजाने की रिहर्सल के साथ अखाड़ा खेलने के दौर के साथ ही सबील पिलाने का दौर भी शुरू हो गया है। दुलदुल निकालते समय मोहर्रम कमेटी के सदर इमरान खरे खरखरे, खजांची अकरम ठेकेदार, जनरल सेकेट्री डॉक्टर मौजूद मोहम्मद, मीडिया प्रभारी शफीक खान, सरपरस्त मिर्जा सलीम बेग, शेख शमीम, असलम शाह, इरशाद खान, मिर्जा सोहराब बेग, वरिष्ठ पार्षद अजीज मंसूरी, अखलाक हुसैन मदनी, अफसार अहमद, पप्पू सदर, शकील वारसी, शब्बीर, रज्जाक, सय्यद वकार अली, मुंशी खान, मरगूब खान, सबदर, अजगर , बाबू ऐरिगेशन, हनीफ राही, आफताब, सलमान शेख, अफाक पटेल, आबिद अली, अनवर अली, मुन्ना, शौकत अली, जम्मु भाई, अकील नूरमंडी, आजाद भाई, जाकिर पहलवान, फैसल वारसी, कय्यूम खान, सद्दाम खान सहित बड़ी संख्या में समाजजन मौजूद थे।
हलीम (खिचड़ा) खिलाने का सिलसिला भी शुरू
मोहर्रम पर्व के शुरू होने के साथ ही जगह-जगह मजलीस और सबिल पिलाने का दौर भी शुरू हो गया है। रात के समय मजलीस में शोहदा-ए-कर्बला को याद कर फातेहा पढ़ी जा रही है तो वहीं घरों पर दूध और शरबत की सबिल पिलाई जा रही है। साथ ही हलीम (खिचड़ा) खिलाने का सिलसिला भी शुरू हो गया है। इसीके साथ मोहर्रम पर्व पर बांटी जानी वाली विशेष मिठाई रेवड़ी की दुकानें भी सज गई हैं और छोटा चौक में रौनक का माहौल दिखाई देने लगा है। वहीं बच्चों के लिए छोटे दुलदुल और बुर्राक भी बाजार में पहुंच गए हैं। साथ ही छोटा चौक स्थित मस्जिद पर आकर्षक विद्युत सज्जा की गई है।